शिमला। हिमाचल में सुक्खू सरकार ने ओपीएस बहाली कर पहला वादा पूरा कर दिया है। साथ ही 18 से 60 साल की महिलाओं को 1,500 रुपए प्रति माह अनुदान देने के वादे पर भी काम शुरू हो गया है। कैबिनेट के निर्णय के अनुसार एक सब कमेटी का गठन किया गया है। हिमाचल में 18 से 60 वर्ष की आयु वर्ग की महिलाओं को तत्काल प्रभाव से 1,500 रुपये प्रति माह अनुदान देने के वादे को लागू करने के लिए एक रोडमैप तैयार करने के लिए कैबिनेट सब कमेटी का गठन किया गया है।
कमेटी के चेयरमैन स्वास्थ्य मंत्री डॉ़. (कर्नल) धनी राम शांडिल होंगे। कृषि मंत्री चौधरी चंद्र कुमार, पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह सदस्य होंगे। साथ ही सचिव (एसजेएंडई) कमेटी में सदस्य सचिव होंगे। उपरोक्त समिति 30 दिन की अवधि के भीतर कैबिनेट के समक्ष अपनी सिफारिशें पेश करेगी।
बता दें कि सुक्खू सरकार की पहली कैबिनेट की बैठक में महिलाओं को 1,500 रुपए अनुदान देने और युवाओं को रोजगार मुहैया करवाने के वादे को लेकर सब कमेटी का गठन करने का निर्णय लिया था। कमेटी सभी पहलुओं का अध्ययन कर अपनी रिपोर्ट कैबिनेट के समक्ष पेश करेगी। इसके बाद इस वादे को लेकर सरकार कोई निर्णय लेगी।
शिमला। हिमाचल प्रदेश की सुखविंदर सुक्खू सरकार ने डिपुओं में लाखों उपभोक्ताओं को मिलने वाले सरसों के तेल के दाम बढ़ा दिए हैं। डिपुओं में अब सरसों का तेल 9 रुपए महंगा मिलेगा। इस माह से खाद्य आपूर्ति विभाग ने बढ़ी हुई कीमतों को लागू कर दिया है।
अब डिपुओं में एपीएल परिवारों को सरसों का तेल 142 और एनएफएसए के अधीन आने वाले उपभोक्ताओं को 132 रुपए प्रति लीटर के हिसाब से मिलेगा। लोगों का कहना है कि इससे महंगाई की मार पड़ेगी। सरकार को आय के साधन बढ़ाने के लिए अन्य रिसोर्स तैयार करने चाहिए, जिससे गरीब जनता पर बोझ न पड़े।
बता दें कि सुक्खू सरकार ने अभी हाल ही में डीजल पर वैट बढ़ाया है। तीन रुपए वैट में बढ़ोतरी की है। हिमाचल में डीजल महंगा हुआ है। 13 जनवरी को शिमला में मीडिया से बातचीत में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा था कि पिछली जयराम सरकार ने चुनाव के वक्त डीजल पर 9 रुपए वैट कम किया था। हमने सिर्फ 3 रुपए बढ़ाया है और पुरानी पेंशन स्कीम का इंतजाम किया है। अभी तो डीजल पर ही वैट बढ़ाया है। आगे कुछ और भी कदम उठाए जा सकते हैं।
शिमला। एक तरफ जहां सुक्खू सरकार ने हिमाचल में पुरानी पेंशन को लागू करने के लिए कदमताल शुरू कर दी है। वहीं, जल शक्ति विभाग मतियाना डिवीजन के जल रक्षकों को पिछले पांच माह से वेतन नहीं मिल पाया है। इससे जल रक्षकों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
वेतन न मिलने से दुखी जल रक्षक पूर्व में ठियोग से विधायक रहे राकेश सिंघा की अगुवाई में जल निगम के दफ्तर टूटीकंडी पहुंचे और इंजीनियर इन चीफ को ज्ञापन दिया।
राकेश सिंघा ने कहा कि ठियोग के मतियाना डिवीजन में जल रक्षकों को पांच महीने से वेतन नहीं मिला है। सरकार का तंत्र कानून की उल्लंघना कर रहा है। घर-घर पानी पहुंचाने वाले आज वेतन के लिए दर दर भटक रहे हैं। इस संदर्भ में इंजीनियर इन चीफ को ज्ञापन देकर अवगत करवाया है और जल्द वेतन देने की मांग की गई है अगर ऐसा नहीं होता है तो ये जलरक्षक काम बंद कर देंगे।
शिमला। हिमाचल की सुक्खू सरकार ने कल रविवार के दिन बड़ा प्रशासनिक फेरबदल किया था। 22 आईएएस और एचएएस अधिकारियों का तबादला किया था। इसमें 13 आईएएस और 9 एचएएस थे। वहीं, आज 22 नायब तहलीदार की ट्रांसफर की है। इस बारे अधिसूचना जारी हो गई है। बदले नायब तहसीलदार के जल्द नई जगह पर ज्वाइनिंग कर रिपोर्ट देनी होगी।
मंडी डिवीजन में रमेश शर्मा को बमसन टौणी देवी, कृष्ण चंद को बल्ह मंडी, केशव राम को उदयपुर लाहौल स्पीति, अत्तर सिंह को भोटा हमीरपुर भेजा गया है। कांगड़ा डिवीजन में राजिंद्र कुमार को दौलतपुर चौक ऊना से हरिपुर कांगड़ा, अनिल कुमार को साहो चंबा से नगरोटा बगवां कांगड़ा, ज्ञान चंद को जालग से धीरा कांगड़ा, सत्य पाल को चचियां से थुरल और विनोद दुग्गल को भरमौर से डिवीजनल कमीश्नर कांगड़ा के ऑफिस में बदला गया है।
शिमला डिवीजन में मलक राम को सतौन सिरमौर से जुब्बल शिमला, देविंद्र कुमार को थल्लीचकटी से मोरंग किन्नौर, नानक राम को ज्यूरी शिमला से निचार किन्नौर, कमल कुमार को कालाअंब से परवाणू, सौरभ धीमान को समरकोट शिमला से चिड़गांव शिमला, सोहन लाल को सुन्नी शिमला, मदन लाल को धामवरी शिमला से संगड़ाह सिरमौर, फेरिद मोहम्मद को मतियाना शिमला से जलोग शिमला, सलीम मोहम्मद को कोटी शिमला से कृष्णगढ़ सोलन, बंसी राम को ददाहू सिरमौर, जगत राम को राजपुर सिरमौर से नैनाटिक्कर सिरमौर. अश्वनी कुमार को पच्छाद सिरमौर और रमेश चंद को टिक्कर शिमला से अर्की शालाघाट बदला गया है।
एसी टू डीसी ऊना गुरसिमर सिंह अब एसडीएम नूरपुर होंगे
शिमला। हिमाचल की सुक्खू सरकार ने रविवार के दिन 13 आईएएस (IAS) और 9 एचएएस (HAS) को इधर-उधर किया। साथ ही चार एचएएस को अतिरिक्त कार्यभार सौंपा है। आईएएस में एसडीएम ठियोग सौरभ जस्सल को एडीसी कांगड़ा लगाया गया है। एसडीएम ऊना निधि पटेल एडीसी बिलासपुर होंगी।
एसडीएम नालागढ़ महिंद्र पाल गुज्जर को एडीसी मंडी लगाया गया है। एसीटूडीसी मंडी दिव्यांशु सिंगल अब एसडीएम नालागढ़ होंगे। एसीटूडीसी कांगड़ा ओमकांत ठाकुर को एसडीएम करसोग के पद पर बदला है। एसीटूडीसी शिमला अभिषेक कुमार गर्ग एसडीएम बिलासपुर का दायित्व संभालेंगे। एसीटूडीसी ऊना गुरसिमर सिंह अब एसडीएम नूरपुर होंगे।
डिवीजनल कमिश्नर शिमला प्रियतु मंडल सचिव (ग्रामीण विकास और पंचायती राज) होंगे। एमसी धर्मशाला के कमिश्नर प्रदीप कुमार ठाकुर को निदेशक एससी ओबीसी और अल्पसंख्यकों का सशक्तिकरण होंगे। एडीसी बिलासपुर अनुराग चंद्र को एमसी धर्मशाला के कमिश्नर का दायित्व सौंपा है। एडीसी ऊना डॉ. अमित कुमार पावर कॉरपोरेशन के निदेशक पर्सनल और फाइनेंस होंगे। एडीसी मंडी जतिन लाल को एमडी कौशल विकास निगम शिमला लगाया गया है। एडीसी कांगड़ा गंधर्व राठौर अब बंदोबस्त अधिकारी कांगड़ा डिवीजन होंगे।
एचएएस अधिकारियों में सचिव राज्य परिवहन अथॉरिटी कम एडिशनल कमिश्नर ट्रांसपोर्ट घनश्याम चंद को निदेशक प्रारंभिक शिक्षा लगाया गया है। स्टेट प्रोजेक्ट डायरेक्टर सर्व शिक्षा अभियान और राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान विरेंद्र शर्मा सचिव स्टेट फूड कमिशन होंगे। एसडीएम जोगिंद्रनगर मंडी डॉ. (मेजर सेवानिवृत्त) विशाल शर्मा को एडिशनल डायरेक्टर मेडिकल एजुकेशन और रिसर्च लगाया गया है।
एसडीएम पांवटा साहिब सिरमौर विवेक महाजन अब एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर एचआरटीसी होंगे। एसडीएम नूरपुर कांगड़ा अनिल कुमार भारद्वाज को असिस्टेंट कमिश्नर (प्रोटोकॉल) परवाणू सोलन लगाया गया है। एसडीएम बिलासपुर रमेश्वर दास को सहायक बंदोबस्त अधिकारी अर्की सोलन के पद पर तैनाती है। ज्वाइंट कमिश्नर एमसी मंडी कृष्ण कुमार शर्मा एसडीएम जोगिंद्रनगर होंगे।
एसडीएम जयसिंहपुर कांगड़ा अपराजिता चंदेल को एसडीएम नादौन के पद पर तैनाती दी है। एसडीएम काजा लाहौल स्पीति गुंजीत सिंह चीमा अब एसडीएम पांवटा साहिब होंगे।
शिमला। हिमाचल की सुक्खू सरकार ने लोहड़ी पर हिमाचल के करीब एक लाख 36 हजार कर्मचारियों को पुरानी पेंशन का तोहफा दिया है। हिमाचल में पुरानी पेंशन लागू हो गई है।
पुरानी पेंशन स्कीम लागू होने से कर्मचारियों की लंबे समय से चली आ रही मांग भी पूरी हो गई है और कांग्रेस का वादा भी पूरा हुआ है। सुक्खू सरकार ने पैसों का जुगाड़ डीजल पर वैट बढ़ाकर किया है। इस बात का खुलासा खुद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने शिमला में मीडिया से बातचीत में किया।
सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू से जब पुरानी पेंशन के लिए बजट के बारे पूछा तो उन्होंने कहा कि हम चुनाव के लिए राजनीति नहीं करते हैं। पूर्व की भाजपा सरकार ने डीजल पर सात रुपए वैट कम किया था।
इससे हिमाचल में डीजल सस्ता हो गया। हमने सात में से 3 रुपए वैट बढ़ाकर पुरानी पेंशन का इंतजाम किया है। अब भी हिमाचल में उत्तराखंड, पंजाब और जम्मू कश्मीर के मुकाबले डीजल सस्ता है।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि एनपीएस कर्मचारियों के लिए योजना के तहत 14 फीसदी सरकार और 10 फीसदी कर्मचारी का शेयर होता है। इसके तहत केंद्र सरकार के पास हिमाचल के कर्मचारियों के आठ हजार करोड़ रुपए जमा हैं।
सरकार ने जब केंद्र सरकार से पत्राचार किया कि पैसा दिया जाए तो केंद्र सरकार ने कहा कि वह ये पैसा सरकार को देने के लिए बाध्य नहीं है। अगर कोई कर्मचारी व्यक्तिगत तौर पर मांगें तो विचार किया जाएगा। फिर हमने हिमाचल में पुरानी पेंशन बहाल करने का निर्णय लिया और लोहड़ी पर कर्मचारियों को तोहफा दिया है।
शिमला। हिमाचल में एनपीएस कर्मचारियों का लंबा इंतजार खत्म हो गया है। सुक्खू सरकार ने पुरानी पेंशन स्कीम को बहाल कर दिया है। सचिवालय में हुई कैबिनेट बैठक में पुरानी पेंशन बहाली पर मुहर लगी है। बता दें कि कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव से पहले सरकार बनने पर पहली कैबिनेट में ओपीएस बहाल करने का वादा किया था। सुक्खू सरकार ने पहली कैबिनेट की बैठक में इस वादे को पूरा कर दिया है।
इससे राज्य के 1.30 लाख कर्मचारी लाभान्वित होंगे। ओपीएस (OPS) बहाल करने वाला हिमाचल चौथा राज्य हो गया है।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सचिवालय के बाहर एनपीएस (NPS) कर्मचारियों को संबोधित करते हुए कहा कि OPS कर्मचारियों का हक है। कांग्रेस ने अपने वादे के मुताबिक ओपीएस बहाल कर दी है। उन्होंने कहा कि आज ही ओपीएस बहाली की अधिसूचना भी जारी कर दी जाएगी।
हिमाचल से पहले राजस्थान, छत्तीसगढ़ और पंजाब भी ओपीएस बहाल हो चुकी है। हालांकि इन राज्यों को केंद्र सरकार 2002 से जमा पेंशन फंड की राशि वापस लौटाने से इंकार कर चुकी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ओपीएस आज से लागू हो जाएगी। मगर एरियर के भुगतान के लिए उन्होंने तीन से चार साल का समय मांगा है।
वहीं, पुरानी पेंशन बहाल होने से कर्मचारियों की लोहड़ी यादगार बन गई है। कर्मचारियों में जश्न सा माहौल है। कर्मचारियों ने सचिवालय के बाहर नाच और गाकर खुशी का इजहार किया। अभी ओपीएस बहाली की घोषणा का औपचारिक ऐलान हुआ नहीं था कि कर्मचारियों का जश्न सचिवालय के बाहर शुरू हो गया। इस जश्न में पूर्व की जयराम सरकार में पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर प्रदर्शन में‘जोइया मामा मानदा नहीं, कर्मचारी को शुणदा नेई नारा लगाने वाले शिक्षक ओमप्रकाश भी इस मौके पर मौजूद रहे। उन्होंने नाटी डालकर और गाकर खुशी का इजहार किया।
महिलाओं को 1500 रुपए भत्ते पर भी हो सकता है कुछ निर्णय
शिमला। हिमाचल की सुक्खू सरकार की पहली कैबिनेट बैठक शुरू हो गई है। लोहड़ी पर हिमाचल के एनपीएस कर्मचारियों को तोहफा मिलेगा। सरकार पुरानी पेंशन बहाली का फैसला ले सकती है।
बता दें कि कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव से पहले कर्मचारियों से पुरानी पेंशन बहाल करने का वादा किया था। कहा था कि सरकार बनने पर पहली कैबिनेट की बैठक में पुरानी पेंशन को बहाल किया जाएगा।
अब वह दिन आ गया है। सुक्खू सरकार की पहली कैबिनेट बैठक आज हो रही है। वादे के अनुसार सुक्खू सरकार पुरानी पेंशन को बहाल करेगी। वीरवार को शिमला में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भी कहा था कि पुरानी पेंशन को लेकर खाका भी तैयार है और बजट का भी प्रावधान कर लिया है।
वहीं, कैबिनेट में महिलाओं को 1,500 रुपए प्रतिमाह भत्ता देने को लेकर भी फैसला हो सकता है। सरकार युवाओं के लिए रोजगार के भी द्वार खोल सकती है। कांग्रेस ने पहली कैबिनेट में नौकरियां देने का भी वादा किया है। इसके अलावा अन्य मुद्दों पर भी चर्चा हो सकती है।
धर्मशाला। हिमाचल की सुक्खू सरकार में चंबा जिला की प्रमोशन हुई है। भटियात विधानसभा क्षेत्र से विधायक कुलदीप सिंह पठानिया को हिमाचल विधानसभा का अध्यक्ष बनाया गया है। उनकी चयन सर्वसम्मति के साथ हुआ है। बुधवार को कुलदीप पठानिया ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू, पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर और कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष प्रतिभा सिंह के साथ नामांकन दाखिल किया था।
आज सदन की कार्यवाही शुरू होने के बाद सबसे पहले मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने विधानसभा अध्यक्ष पद पर कुलदीप पठानिया के चयन के लिए प्रस्ताव सदन में रखा। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने प्रस्ताव का समर्थन किया। इसके बाद डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री ने प्रस्ताव प्रस्तुत किया तो हर्षवर्धन चौहान ने प्रस्ताव का समर्थन किया। फिर धनी राम शांडिल ने प्रस्ताव प्रस्तुत किया और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष विपिन सिंह परमार ने उसका समर्थन किया। इसके बाद नए चुने गए विधानसभा अध्यक्ष को अध्यक्ष की कुर्सी पर बैठाया गया।
बता दें कि पूर्व जयराम सरकार में चंबा जिला से चुनकर आए विधायक हंस राज को डिप्टी स्पीकर बनाया गया था। हंसराज चुराह विधानसभा क्षेत्र के विधायक हैं। इस बार चंबा जिला को अध्यक्ष पद मिला है और कुलदीप पठानिया अध्यक्ष चुने गए हैं। कुलदीप सिंह पठानिया के राजनीतिक सफर की बात करें तो वह पांच बार भटियात विधानसभा क्षेत्र से जीतें हैं। इसमें तीन बार कांग्रेस तो 2 बार आजाद जीते हैं। उन्होंने 1985 में कांग्रेस की टिकट पर पहला चुनाव लड़ा था और जीत दर्ज की थी।
1990 में वह चुनाव हार गए। 1993 में कांग्रेस ने उन्हें टिकट नहीं दी और शिव कुमार को प्रत्याशी बनाया। कुलदीप पठानिया ने आजाद ताल ठोक दी। वह आजाद चुनाव जीत गए। 1998 में फिर कांग्रेस ने उन्हें प्रत्याशी बनाया और वह चुनाव हार गए। 2003 में कांग्रेस ने फिर शिव कुमार को चुनावी मैदान में उतारा और भाजपा ने किशोरी लाल को टिकट दी।
कुलदीप पठानिया एक बार फिर कांग्रेस से बगावत कर गए और आजाद चुनावी मैदान में कूद गए। भाजपा में भी बगावत हुई और भूपेंद्र सिंह चौहान आजाद चुनावी मैदान में उतर गए। 2003 के चुनाव में भटियात विधानसभा क्षेत्र में मुकाबला आजाद प्रत्याशियों के बीच ही रहा और कुलदीप सिंह पठानिया ने बाजी मारी।
2007 में मुकाबला कुलदीप सिंह पठानिया और भूपेंद्र सिंह चौहान के बीच रहा। बस फर्क इतना था कि कुलदीप सिंह पठानिया कांग्रेस और भूपेंद्र सिंह चौहान भाजपा की टिकट पर चुनाव लड़े। चुनाव में कुलदीप सिंह पठानिया ने जीत दर्ज की। 2012 विधानसभा चुनाव में भाजपा ने बिक्रम सिंह जरयाल को चुनावी मैदान में उतारा। कांग्रेस ने फिर कुलदीप पठानिया पर भरोसा जताया। पर कुलदीप पठानिया चुनाव जीत नहीं पाए।
2017 में भी कुलदीप पठानिया को बिक्रम सिंह जरयाल के हाथों हार का मुंह देखना पड़ा। 2022 के चुनाव में कुलदीप पठानिया ने एक बार फिर वापसी की और कांग्रेस की टिकट पर चुनाव जीते हैं। अब वह हिमाचल विधानसभा अध्यक्ष की जिम्मेदारी संभालेंगे।
तपोवन। 14वीं हिमाचल विधानसभा के पहले सत्र के पहले ही दिन सदन में जमकर हंगामा हुआ। सदन में विधायकों की शपथ के बाद विपक्ष ने वॉकआउट कर दिया। सदन में सत्ता पक्ष और विपक्ष में काफी देर तक नोंक-झोंक चलती रही। डिनोटिफाई मुद्दे का विपक्ष ने विरोध किया।
इस मसले पर चर्चा का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू ने कहा कि यदि विपक्ष बताएंगे कि नए खोले गए किन स्कूलों में आपकी सरकार ने कितना स्टाफ कितना भर्ती किया था तो इस पर चर्चा की जा सकती है। इस पर विपक्ष ने नारेबाजी करते हुए सदन से वॉक आउट कर दिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्व की बीजेपी सरकार ने प्रदेश में चुनावी बेला में 900 दफ्तर खोले फिर भी प्रदेश की जनता ने उनको नकार दिया। उन्होंने कहा कि पूर्व सरकार ने जगह-जगह गैर जरूरी दफ्तर खोले हैं। जहां जरूरत होगी, वहां जरूरत के हिसाब स्कूल, कॉलेज व चिकित्सा संस्थान खोले जाएंगे।
उन्होंने कहा कि पूर्व सरकार ने कई ऐसे CHC खोल दिए हैं, जिन्हें फार्मासिस्ट और कई स्कूलों को चपरासी चला रहे हैं। सुखविंदर सुक्खू ने कहा कि पूर्व सरकार ने 380 स्कूल खोले, लेकिन स्टाफ तैनात नहीं किया गया। जो भर्तियां विचाराधीन होनी थी, उनके पेपर लीक हो गए।
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस सरकार पर बदला-बदली की भावना से काम कर रही है। प्रदेश के इतिहास में ऐसा कभी नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि दफ्तर बंद करने से प्रदेश का भला होने वाला नहीं है।
सुंदरनगर में 1952 में खोली गई पुलिस चौकी को भी सुक्खू सरकार ने बंद किया है। जयराम ठाकुर ने कहा कि बीते कल धर्मशाला के जोरावार मैदान में एक IPS अधिकारी की मौत हो जाती है और कांग्रेस का जश्न चलता रहता है, जबकि कांग्रेस को यह अभिनंदन समारोह रोक देना चाहिए था।