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इससे पहले, मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना ने कहा कि मुख्यमंत्री पिछले 10 माह से डीसी एवं पुलिस अधीक्षकों से निरंतर संवाद कर रहे हैं। आपदा के दौरान मुख्यमंत्री स्वयं ग्राउंड जीरो पर उतरे और सशक्त नेतृत्व प्रदान किया। मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव भरत खेड़ा ने सम्मेलन में मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू का स्वागत किया। इस सम्मेलन में प्रशासनिक सचिवों और विभागाध्यक्षों ने भी भाग लिया।
शिमला। हिमाचल में सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में 52 नई उचित मूल्य दवाओं की दुकानें खोली जाएंगी। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने निगम से मरीजों की सुविधा के लिए और उन्हें उचित दरों पर दवाएं और अन्य सर्जिकल उपकरण उपलब्ध कराने के लिए राज्य भर के विभिन्न सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में 52 नई उचित मूल्य दवाओं की दुकानें खोलने के लिए कहा है, ताकि मरीजों को गुणवत्तापूर्ण दवाएं उपलब्ध करवाई जा सकें।
यह निर्देश मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू ने शनिवार देर सायं शिमला में हिमाचल प्रदेश राज्य नागरिक आपूर्ति निगम सीमित के निदेशक मंडल की 173वीं बैठक की अध्यक्षता करते हुए कही। मुख्यमंत्री सुक्खू ने कहा कि राज्य में आपदा प्रभावित परिवारों को निःशुल्क एलपीजी कनेक्शन और निःशुल्क राशन उपलब्ध करवाने की योजना शुरू की गई है और पात्र लाभार्थी इस योजना से लाभान्वित हो रहे हैं।
उन्होंने खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति अधिकारियों को इसके प्रभावी कार्यान्वयन की निगरानी करने के निर्देश दिए, ताकि प्रभावित परिवार अपने उचित अधिकारों से वंचित न रहें। मुख्यमंत्री ने कहा कि हिमाचल में आपदा प्रभावित परिवारों को एलपीजी सिलेंडर, प्रेशर रेगुलेटर, हाट प्लेट, सुरक्षा पाइप सहित एलपीजी घरेलू रिफिल और ब्लू बुक की लागत सहित सभी संबंधित सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार इन प्रभावित परिवारों को निःशुल्क राशन भी उपलब्ध करवा रही है, जिसके अंतर्गत राशन पैकेज में 20 किलो गेहूं का आटा, 15 किलो चावल, 3 किलो दाल, 1 लीटर सरसों का तेल, 1 लीटर सोया रिफाइंड तेल, 1 किलो डबल फोर्टिफाइड नमक और 2 किलो चीनी शामिल है। उन्होंने कहा कि निःशुल्क राशन की यह सुविधा 31 मार्च, 2024 तक प्रदान की जाएगी।
इससे प्रभावितों को मूलभूत खाद्य आवश्यकताओं की पूर्ति सुनिश्चित होगी। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि राज्य नागरिक आपूर्ति निगम ने वित्त वर्ष 2022-23 के लिए 1955 करोड़ रुपये का कुल कारोबार किया है और 87 लाख रुपए का लाभ अर्जित किया है। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निगम को पूरी तरह से डिजिटल, वाणिज्यिक और पेशेवर इकाई बनाने और उपभोक्ताओं को गुणवत्तापूर्ण उत्पाद सुनिश्चित करवाने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि एफएमसीजी उत्पादों की खरीद के लिए निगम को गोदरेज और बजाज जैसी अग्रणी कंपनियों के साथ समझौता ज्ञापन हस्ताक्षरित करने चाहिए, ताकि उपभोक्ताओं को सस्ती दरों पर गुणवत्तापूर्ण उत्पाद मिल सकें।
निगम के गैर सरकारी निदेशक, प्रधान सचिव खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति आरडी नजीम, प्रधान सचिव वित्त मनीष गर्ग, सचिव स्वास्थ्य एम सुधा देवी, प्रबंध निदेशक राज्य नागरिक आपूर्ति निगम राजेश्वर गोयल, सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार संदीप कदम, राज्य खाद्य और नागरिक आपूर्ति निगम के कार्यकारी निदेशक सचिन कंवल और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी इस बैठक में उपस्थित थे।
ऋषि महाजन/नूरपुर। बरसात के सीजन में प्रशासन द्वारा सभी विभागों को बरसात के दौरान विशेष सतर्कता बरतने के निर्देश दिए गए हैं। एसडीएम नूरपुर गुरसिमर सिंह ने अधिकारियों को अपने-अपने विभाग में एक-एक नोडल अधिकारी नियुक्त करने सहित इसकी संपूर्ण सूचना प्रशासन को उपलब्ध करवाने के भी निर्देश दिए हैं, ताकि जरूरत पड़ने पर उनसे संपर्क किया जा सके। उन्होंने अधिकारियों व कर्मचारियों से कहा है कि वे बरसात के मौसम के दौरान अपना फोन स्विच ऑफ ना रखें।
उन्होंने बताया कि मानसून सीजन के दृष्टिगत प्रशासन द्वारा किसी भी प्राकृतिक आपदा से त्वरित प्रभाव से निपटने के लिए एसडीएम ऑफिस के कमरा नंबर-203 में कंट्रोल रूम स्थापित कर दिया गया है, जोकि हर दिन 24 घंटे खुला रहेगा। उपमंडल का कोई भी आमजन मानसून सीजन के दौरान आपातकाल की स्थिति में प्रशासन से किसी भी सहयोग के लिए कंट्रोल रूम के दूरभाष नंबर 01893-220024 पर सीधा संपर्क कर सकता है।
नूरपुर एसडीएम ने बताया कि कंट्रोल रूम को 24 घंटे खुला रखने के लिए प्रशासन द्वारा स्टाफ की विशेष तैनाती की गई है, जो बारी-बारी से ड्यूटी देंगे। उन्होंने बताया कि कंट्रोल रूम में प्राप्त होने वाली हर जरूरी सूचना पर प्रशासन द्वारा त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित करने के लिए सभी विभागों को भी आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने बताया कि किसी भी आपदा को टाला नहीं जा सकता है, लेकिन बेहतर प्रबंधन व तालमेल से होने वाले नुकसान को कम किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि आपदा के समय में त्वरित और प्रभावी एक्शन के लिए सभी विभाग बेहतर तालमेल बनाकर रखें।
शिमला। डीसी शिमला आदित्य नेगी ने सोमवार रात्रि शहर में फुटपाथ पर सो रहे निराश्रित व्यक्तियों को शेल्टर होम में शिफ्ट करवाया। आदित्य नेगी ने कहा कि मुख्यमंत्री कार्यालय से निराश्रित व्यक्तियों को रेस्क्यू कर उनकी हर संभव सहायता करने के निर्देश प्राप्त हुए हैं और मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू वंचित वर्ग के लिए चलाई जा रही योजनाओं की स्वयं समीक्षा कर अधिकारियों को निर्देश दे रहे हैं। इसलिए सभी अधिकारी गंभीरता के साथ कार्य करें।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के निर्देश पर आदित्य नेगी रात करीब 8 बजे ओल्ड बस स्टैंड पहुंचे और बेसहारा लोगों को शिफ्ट करवाया। इसके बाद उन्होंने विंटर फील्ड की ओर जाने वाले रास्ते का निरीक्षण किया और यहां से भी कुछ लोगों को रैन बसेरा में शिफ्ट किया गया।
डीसी शिमला ने कहा कि निरीक्षण के दौरान लगभग 20-25 व्यक्ति सड़क के किनारे सोते हुए मिले, जिनमें कुछ छोटे बच्चे भी शामिल थे। इन सभी को शेल्टर होम ले जाया गया है तथा अधिकारियों को इनके लिए उचित व्यवस्था करने के निर्देश दिए गए हैं।
आदित्य नेगी ने कहा कि बेसहारा व्यक्तियों के लिए प्रबंध करने का प्रमुख दायित्व नगर निगम शिमला का है, क्योंकि नगर निगम ही रैन बसेरा का संचालन करता है, इसलिए अधिकारियों को रात के समय सड़क किनारे सोने वाले व्यक्तियों की निगरानी कर उन्हें रेस्क्यू करने को कहा गया है। साथ ही उन्हें जहां भी रखा जाएगा, वहां उनके लिए बेहतर प्रबंध किया जाएगा।