जयराम बोले- शिमला में MRI के लिए दो-दो महीने बाद की मिल रही तारीख
ewn24news choice of himachal 28 Jul,2023 7:30 pm
प्रदेश में लोगों का स्वास्थ्य भगवान भरोसे
शिमला।नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि सरकार ने प्रदेश के लोगों के स्वास्थ्य को भगवान के भरोसे छोड़ दिया है। प्रदेश की राजधानी में स्थित मेडिकल कॉलेज में ही एमआरआई (MRI) के लिए दो-दो महीने बाद की तारीख मिल रही है। छोटी-मोटी जांचों के लिए लोगों को एक-एक हफ्ते तक इंतजार करना पड़ रहा है। ऐसे में लोग क्या करें।
जब तक जांच की रिपोर्ट नहीं आती तब तक डॉक्टर दवा नहीं लिख सकता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के कोने-कोने से लोग आईजीएमसी आते हैं और जांच न हो पाने की वजह से बिना दवाई के लौट जा रहे हैं। दूसरी बार आने में मरीज का समय और पैसा दोनों खर्च हो रहा है। समय पर इलाज न मिलने से स्वास्थ्य को होने वाला जोखिम अलग है।
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि इस तरह की व्यवस्था परिवर्तन की उम्मीद प्रदेश के लोगों को सरकार से नहीं थी। जहां न अस्पतालों में जांच हो पाए और न दवाई मिले। उन्होंने कहा कि सरकार दावा करती है कि मरीज़ों को अस्पताल में सभी जांचों की सुविधा मिलेगी, लेकिन हालत यह हैं कि दो-दो महीने बाद जांच की तारीख मिल रही है। यह हाल सिर्फ एमआरआई के लिए नहीं है, सीटी-स्कैन से लेकर सामान्य पैथोलॉजी की जांच के लिए भी लोगों को महीना बाद की तारीखें दी जा रही हैं।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि तीन दिन पहले नाहन मेडिकल कॉलेज में ऑक्सीजन सिलेंडर खत्म होने से एक महिला की दुःखद मृत्यु हो गई। ऑक्सीजन खत्म होने से किसी की मृत्यु हो जाना प्रदेश सरकार के लिए शर्मनाक है। सरकार और अस्पताल प्रबंधन की वजह से किसी की मृत्यु होना सामान्य घटना नहीं है। इस तरह की लापरवाही और संवेदनहीनता किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने कहा कि कोरोना की महामारी में पूरी दुनिया में ऑक्सीजन की कमी थी, लेकिन हिमाचल में हमने ऑक्सीजन की कमी नहीं होने दी।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि प्रदेश के लोगों को इलाज के लिए परेशान न होना पड़े इसके लिए हमने आयुष्मान योजना के दायरे में न आने वाले लोगों के लिए हिम केयर योजना की शुरुआत की। प्रदेश के साढ़े तीन लाख लोगों को इस योजना का लाभ मिला। अब लोगों को हिम केयर से इलाज मिलने में भी असुविधा का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने मुख्यमंत्री से आग्रह किया है कि वह सुनिश्चित करें कि लोगों कि इलाज में कठिनाई न आए।