वादों से पीछे हट रही केंद्र सरकार : शिमला में किसानों ने निकाला राजभवन मार्च
ewn24news choice of himachal 26 Nov,2022 4:34 pm
राज्यपाल के माध्यम से राष्ट्रपति को सौंपा ज्ञापन
शिमला। केंद्र सरकार द्वारा किसानों के साथ किए गए वादों से पीछे हटने के विरोध में और न्यूनतम समर्थन मूल्य की कानूनी गारंटी, किसानों की संपूर्ण कर्ज़ मुक्ति के समर्थन में संयुक्त किसान मोर्चा ने राजभवन मार्च किया और राज्यपाल के माध्यम से राष्ट्रपति को ज्ञापन सौंपा। संविधान दिवस के अवसर पर देश भर के किसानों ने अपने-अपने राज्यों के राज्यपालों के माध्यम से केंद्र सरकार द्वारा किसानों से किए गए वादे याद दिलाए।
राष्ट्रीय स्तर पर किसानों के आंदोलन के बाद केन्द्र सरकार ने तीन कृषि कानूनों को वापस लिया था। किसानों ने आंदोलन खत्म करने के लिए अपनी मांगें रखी थीं जिन्हें पूरा करने के लिए केन्द्र सरकार ने अपनी सहमति जताई थी परन्तु आंदोलन समाप्त होने के लगभग एक साल बाद भी केन्द्र सरकार ने उस पर कोई कार्यवाही नहीं की।
किसान स्वामीनाथन आयोग की सिफारिश के आधार पर सभी फसलों के लिए सी2+50 फीसदी के फार्मूला से एमएसपी की गारंटी, किसानों की कर्ज माफ़ी, बिजली संशोधन विधेयक, 2022 को वापस लेने, लखीमपुर खीरी जिला के तिकोनिया में चार किसानों और एक पत्रकार की हत्या के मुख्य साजिशकर्ता केन्द्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्र टेनी को मंत्रिमंडल से बर्खास्त करने सहित आठ मुख्य मांग कर रहे हैं। संयुक्त किसान मोर्चा ने सरकार को चेतावनी दी है कि यदि सरकार अपने वादों को पुरा नहीं करती है तो किसानों के पास आंदोलन को तेज करने के सिवाय और कोई रास्ता नहीं बचेगा।