कालका-शिमला रेलवे हेरिटेज ट्रैक पर ट्रेन की आवाजाही 15 सितंबर तक बंद
ewn24news choice of himachal 13 Sep,2023 6:54 am
शिमला। कालका-शिमला रेलवे हेरिटेज ट्रैक पर ट्रेन की आवाजाही बंद है। 15 सितंबर तक ट्रेन रद्द की गई हैं। ट्रैक को बहाल करने का काम युद्ध स्तर पर चल रहा है। सितंबर महीने के अंत तक चरणबद्ध तरीके से शिमला तक ट्रेन चलाए जाने की योजना है।
कालका और कोटी रेलवे लाइन के बीच करीब 16 किलोमीटर लंबे रूट को पिछले सप्ताह आंशिक रूप से बहाल किया गया था। उत्तर रेलवे के आधिकारिक प्रवक्ता ने बताया कि कालका और सोलन के बीच ट्रेन सेवाएं 16 सितंबर को बहाल की जाएंगी और इसे चरणबद्ध तरीके से 30 सितंबर तक शिमला तक चालू किया जाएगा।
गौर हो कि 14 अगस्त, 2023 को राजधानी शिमला के समरहिल में भूस्खलन के चलते वर्ल्ड हेरिटेज में शामिल शिमला-कालका रेल मार्ग भी बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया था। जतोघ और समरहिल स्टेशन के बीच रेल की पटरी हवा में लटक गई थी।
14 अगस्त को भारी बारिश के कारण आई बाढ़ और भूस्खलन से एक मंदिर क्षतिग्रस्त हो गया था जिसमें 20 लोगों की मौत हो गई थी। समरहिल में भूस्खलन के कारण एक शताब्दी से अधिक पुराना रेलवे ट्रैक भी क्षतिग्रस्त हो गया। मानसून सीजन के दौरान कालका-शिमला रेलवे लाइन सोलन और शिमला जिलों में कई स्थानों पर क्षतिग्रस्त हो गई थी।
बता दें कि शिमला-कालका रेल मार्ग 1898 से 1903 के बीच बनकर तैयार हुआ था। 1896 में दिल्ली-अंबाला कंपनी को इसे बनाने का काम सौंपा गया था। 9 नवंबर, 1903 को कालका-शिमला रेलमार्ग की शुरुआत हुई थी।
रेलमार्ग कालका स्टेशन से शिमला तक जाता है। 96 किमी लंबे ट्रैक पर कुल 18 स्टेशन हैं। साल 1921 में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने भी इस मार्ग से यात्रा की थी। इसे केएसआर के नाम से भी जाना जाता है।
इस ट्रैक पर टॉय ट्रेन चलती हैं। 120 साल पुराने कालका-शिमला रेलवे हेरिटेज ट्रैक का इतिहास काफी गहरा है। यह रेलमार्ग उत्तर रेलवे के अंबाला डिवीजन में आता है। पर्यटन के लिहाज से काफी महत्वपूर्ण है।
देश-विदेश के सैलानी शिमला के लिए इसी रेलमार्ग से टॉय ट्रेन में सफर का लुत्फ उठाते हैं। इस रेललाइन के ऐतिहासिक महत्व को देखते हुए यूनेस्को ने जुलाई 2008 में इसे वर्ल्ड हेरिटेज में शामिल किया था।