नाहन। हिमाचल के सिरमौर जिला में एक पुलिस कांस्टेबल ने अपने ही महकमे को कटघरे में खड़ा कर दिया है। एक वीडियो वायरल कर आलाधिकारियों पर किसी प्रेशर में आकर कानून की धज्जियां उड़ाने के आरोप लगाए हैं।
मामला पंजाब युवकों द्वारा स्थानीय लोगों से मारपीट से जुड़ा है। पुलिस जवान ने कंडीशनली रिजाइन देकर नौकरी तक छोड़ने की बात कह डाली है। उधर, जिला सिरमौर पुलिस ने पुलिस जवान के आरोपों को गैर जिम्मेदाराना और झूठा करार देते हुए इनका खंडन किया है।
सिरमौर के काला अंब पुलिस स्टेशन में तैनात हेड कांस्टेबल जसवीर ने सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल कर आरोप लगाए कि एक छोटे से मारपीट मामले को लेकर उन पर दबाव बनाया जा रहा है। मामले में पीड़ित पक्ष किसी भी तरह का सहयोग नहीं कर रहा है। मामला गैर जमानती धाराओं में दर्ज है।
पीड़ित पक्ष धारा 307 लगाने का दवाब बना रहा है, जबकि नियमों के अनुसार मामले में धारा 307 नहीं बनती है और वह ऐसे ही धारा नहीं लगा सकते हैं। वहीं, पीड़ित पक्ष के लोग उन्हें लगातार धमकियां दे रहे हैं। आलाधिकारी भी मामले में आरोपियों को गिरफ्तार करने का दबाव बना रहे हैं।
जब मामला गैर जमानती धाराओं में दर्ज है तो गिरफ्तारी कैसे हो सकती है। पता नहीं आलाधिकारियों पर क्या प्रेशर है जो कानून की धज्जियां उड़ा रहे हैं। ऐसे मामले पहले भी दर्ज हो चुके हैं। हेड कांस्टेबल जसवीर ने कहा कि वह डिप्रेशन हैं और वह रोए हैं। वह पुलिस की नौकरी छोड़ रहे हैं। कंडीशनल रिजाइन दे रहे हैं।
जिला पुलिस के अनुसार 8 जून, 2024 को काला अंब के एक स्थानीय ट्रैक्टर चालक, उसके पिता व चाचा के साथ पास न देने के कारण पंजाब की एक स्कार्पियो में सवार युवकों ने काफी मारपीट की थी, जिस घटना के बाद स्थानीय युवक की शिकायत पर काला अंब थाने में पंजाब के युवकों के खिलाफ मामला धारा 341, 323, 147, 148, 149 आईपीसी में दर्ज हुआ है। इस घटना का वीडियो भी वायरल हुआ था।
मामले की जांच का जिम्मा काला अंब पुलिस स्टेशन में तैनात हेड कांस्टेबल जसवीर को सौंपा है। स्थानीय लोग हेड कांस्टेबल की जांच और व्यवहार से काफी नाखुश थे। स्थानीय लोगों ने अधिकारियों को सूचित किया था।
जब फाइल को उच्च अधिकारियों द्वारा चेक किया गया तो जांच में काफी अनियमितताएं पाई गईं, जिस पर जसवीर को जांच नियमित और कानून के मुताबिक करने के निर्देश दिए, लेकिन बिना किसी कारण से आज हेड कांस्टेबल जसवीर ने एक वीडियो सोशल मीडिया में वायरल की है।
इसमें वह उच्च अधिकारियों पर गैर जिम्मेदाराना और झूठे आरोप लगा रहा है तथा पुलिस विभाग की छवि को धूमिल कर रहा है। जिला पुलिस इसका खंडन करती है।