खबली की 70 वर्षीय शोभा देवी ने कर दिखाया, अपनों की सेहत भी बचाई और मुनाफा भी कमाया
ewn24news choice of himachal 27 Aug,2023 3:34 pm
प्राकृतिक खेती अपनाकर प्राप्त कर रही अच्छे दाम
देहरा। कहते हैं कि अपनों की सेहत से बढ़कर शायद ही कुछ हो। इसके आगे धन दौलत भी बौनी है। यही साबित किया है कांगड़ा जिला के देहरा उपमंडल के खबली गांव की शोभा देवी ने। घर वाले बीमार रहने लगे तो खेतों में कीटनाशकों और रासायनिक खादों का प्रयोग बंद कर दिया और जैविक खेती की शुरूआत की, लेकिन जैविक खेती से भी नुकसान उठाना पड़ा।
फिर भी हिम्मत नहीं हारी और प्राकृतिक खेती को अपनाने का फैसला लिया। प्राकृतिक खेती का प्रशिक्षण प्राप्त कर आज अच्छा मुनाफा कमा रहीं हैं और अपनों की सेहत भी अच्छी है।
देहरा उपमंडल के खबली गांव की शोभा देवी कठोर मेहनत के बलबूते आज समाज के लिए प्रेरणा बन गई हैं। 20 कनाल में सब्जियां उगाकर परिवार का भरण-पोषण करने वाली 70 वर्षीय शोभा देवी ने उत्कृष्ट महिला किसान के रूप में पहचान बनाई है। शोभा देवी बताती हैं कि परिवार के सदस्य के आए दिन बीमार रहने लगे तो, उन्होंने खेतों में कीटनाशकों और रासायनिक खादों के प्रयोग को बंद करने का फैसला लिया।
सब्जियों में अच्छी पैदावार और कीटों से रक्षा के लिए वह खेतों में जमकर खादों और कीटनाशकों को प्रयोग करती थीं। समय के साथ असर उनके पति के स्वास्थ्य और अन्य परिवारवालों की सेहत पर होने लगा। इसलिए उन्होंने परिवार और अपने सब्जी उपभोक्ताओं के स्वास्थ्य का ध्यान रखते हुए जैविक खेती करना शुरू किया, लेकिन जैविक खेती में अधिक मात्रा में केंचुआ खाद और अन्य बाजार आधारित उत्पादों के प्रयोग के बावजूद उत्पादन कम होने से उत्पादन लागत बढ़ने से नुकसान हुआ।
शोभा देवी को प्राकृतिक खेती के बारे में जानकारी मिली और उन्होंने सुभाष पालेकर प्राकृतिक खेती का प्रशिक्षण चौधरी सरवन कुमार कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर में पदमश्री सुभाष पालेकर से प्राप्त किया। शोभा देवी ने बताया कि इस खेती विधि के पहले ही साल में उनके उत्पादन में किसी प्रकार की कमी नहीं आई और कीटनाशकों तथा रासायनिक खादों का खर्च भी शून्य हो गया। प्राकृतिक खेती अपनाने से आज बाजार में उनकी सब्जियों की खासी मांग है और दाम भी अच्छे प्राप्त हो रहे हैं।
शोभा देवी ने कहा कि खेती को रोजगार के रूप में अपनाने पर, उन्हें नई पहचान मिली है। आज वे उत्साह और आत्मविश्वास से भरी हुई हैं। शोभा देवी प्रगतिशील महिला किसान के रूप में प्राकृतिक खेती के बारे में बड़े-बड़े मंचों पर अपने अनुभव साझा करती हैं। पूरे क्षेत्र के किसानों को भी प्राकृतिक खेती से जोड़ने का काम कर रही हैं।
उत्साह और आत्मविश्वास से भरी शोभा देवी ने पॉलीहाउस में भी प्राकृतिक खेती आरंभ कर मॉडल खड़ा कर दिया है। प्रदेश सरकार के सहयोग से शोभा देवी ने दो पॉलीहाऊस स्थापित कर प्राकृतिक खेती से बे-मौसमी सब्जियां उगाना आरंभ कर दी हैं। प्राकृतिक बे-मौसमी सब्जियों के उत्पादन से इन्हें अच्छी खासी कमाई भी हो रही है।
मेहनत और आत्मविश्वास से परिपूर्ण शोभा देवी किसानों के लिए प्रेरणाश्रोत बन चुकी हैं और उनकी देखा देखी में क्षेत्र के अन्य किसान भी इस खेती विधि से जुड़ रहे हैं। शोभा देवी ने बताया कि किसानों खासकर महिला किसानों को अपने खेतों में लाकर प्राकृतिक खेती का मॉडल दिखाती हूं और इस खेती विधि से हुए लाभ के बारे में जानकारी देती हूं।
उन्होंने कहा कि प्राकृतिक खेती के लिए उन्हें सरकार की ओर से अनुदान पर देशी गाय उपलब्ध करवाई गई है। उन्होंने बताया कि कृषि विभाग की सभी कल्याणकारी योजनाओं का लाभ उन्हें लगभग प्राप्त हो रहा है।