सीएम सुक्खू बोले, बिना बजट और एक चपरासी के सहारे खोल दिए संस्थान
ewn24news choice of himachal 25 Dec,2022 11:45 pm
उन्हीं संस्थानों को डिनोटिफाई कर रही सरकार
शिमला। कोविड-19 से ठीक होने के बाद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू शिमला लौट आए हैं। शिमला पहुंचते ही सुक्खू सीधा सचिवालय पहुंचे, जहां मीडिया से रूबरू सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि बिना बजट प्रावधान और एक चपरासी के सहारे पिछली भाजपा ने संस्थान खोल दिए, उनको डिनोटिफाई किया जा रहा है। पूर्व भाजपा सरकार ने प्रदेश में मतदाताओं को लुभाने के एकमात्र उद्देश्य के साथ 590 से अधिक संस्थान खोले थे।
इन सभी 590 संस्थानों को क्रियाशील बनाने के लिए लगभग 3000 करोड़ रुपये के बजट प्रावधान की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि यह आश्चर्य की बात है कि राज्य 75 हजार करोड़ रुपये से अधिक के भारी वित्तीय कर्ज तले दबा हुआ है और डबल इंजन की सरकार होने का दावा करने वाली भाजपा सरकार को अपने कार्यकाल के दौरान केंद्र सरकार से एक पैसे की भी सहायता नहीं मिली।
भाजपा मामले में कोर्ट में जाने की धमकी दे रही है। भाजपा यदि कोर्ट जाना चाहती है तो जल्द जाए। जब वह कोर्ट जाएंगे तो उसका माकूल जवाब दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि जेओए (आईटी) पेपर लीक मामले में गिरफ्तारी से प्रतीत होता है कि प्रदेश में परीक्षा घोटाला पूर्व भाजपा सरकार के कार्यकाल से चला आ रहा है।
उन्होंने पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिए कि जब भी ऐसी परीक्षाएं हों तो सतर्क रहें, ताकि परीक्षा प्रक्रिया में पूरी पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित की जा सके।
सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि जल्द ही कैबिनेट विस्तार और विधानसभा का शीतकालीन सत्र आयोजित किया जाएगा। हिमाचल में कोई ऑपरेशन लोट्स नहीं होगा, क्योंकि मैं तो कोविड-19 के चलते 7 दिन तक दिल्ली में था। विधायक शिमला में ही घूम रहे थे।
भाजपा के ऑपरेशन लोट्स के सपने कभी पूरे नहीं होंगे। फैक्ट्री बंद होने को लेकर उन्होंने कहा कि लोगों को सस्ता सीमेंट मिलेगा। बाकी जो विवाद है वह सीमेंट फैक्ट्री और ट्रक ऑपरेटरों के बीच है, उसको सुलझाने के प्रयास जारी है।