शिमला। संजौली मस्जिद विवाद के बाद अब शिमला में राम कृष्ण मिशन आश्रम पर विवाद हो गया। विवाद में जमकर मारपीट के साथ तोड़फोड़ और पथराव हुआ। इसमें 6 से 7 लोग घायल हुए हैं। घायलों का उपचार अस्पताल में चल रहा है।
बता दें कि ब्रह्मो समाज के अनुयायी रामकृष्ण मिशन आश्रम में पहुंच गए और वहां उपासना शुरू कर दी। इसके चलते मौके पर माहौल तनावपूर्ण हो गया।
ब्रह्म समाज के अनुयायियों ने मौके पर कलश स्थापना करनी चाही तो रामकृष्ण परमहंस के अनुयायियों ने इसको लेकर उन्होंने आपत्ति दर्ज करवाई।
मामले की सूचना मिलने के बाद पुलिस टीम भी मौके पर पहुंच गई और स्थिति को संभालने की कोशिश की। बताया जा रहा है कि रात करीब एक बजे पक्ष ने दूसरे पक्ष के लोगों पर कुर्सी फेंकी।
इसके बाद माहौल तनावपूर्ण हो गया और ब्रह्मो समाज और रामकृष्ण मिशन के बीच जमकर मारपीट, तोड़फोड़ और पथराव हुआ। पथराव में 6 से 7 लोग घायल हुए हैं।
विवाद में मंदिर को भी नुकसान पहुंचा है। पुलिस मामला दर्ज कर जांच जुट गई है। मामला संपत्ति विवाद से संबंधित का बताया जा रहा है और मामले को लेकर 28 जनवरी को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होनी है।
राम कृष्ण मिशन के सह सचिव स्वामी राम रूपानंद और ललित वर्मा का कहना है कि मंदिर का माली, कांग्रेस का एक नेता और कुछ अन्य लोग मंदिर पर कब्जा करना चाह रहे हैं, जबकि ब्रह्मो समाज ने मंदिर 2014 में धार्मिक कार्यों के लिए रामकृष्ण मिशन को दे रखा है।
मामला सुप्रीम कोर्ट में भी विचाराधीन है, लेकिन कांग्रेस सरकार के संरक्षण में देर रात मंदिर पर कब्जा करने की कोशिश की गई और मंदिर में पथराव किया गया, जिसमें कुछ लोग घायल हुए हैं। कांग्रेस का एक नेता भी पथराव में शामिल था और पुलिस मूक दर्शक बन कर सब देखती रही।
ब्रह्मे समाज के दूसरे गुट के ट्रस्टी एम आर सगरोली ने कहा कि प्रॉपर्टी ब्रह्मो समाज की है और रामकृष्ण मिशन के लोगों ने इस पर कब्जा किया है।
वहीं, पुलिस ने देर रात विवाद को शांत किया और प्रदर्शनकारियों को खदेड़ा और मामले की जांच में जुट गई है।
एसपी शिमला संजीव गांधी ने बताया कि पुलिस ने मामले में दो एफआईआर दर्ज कर ली हैं और पथराव करने वाले कुछ लोगों की पहचान भी कर ली है। मंदिर ने इस तरह के पथराव को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है।