शिमला। राजधानी शिमला के रिज पर घुड़सवारी करने का अपने ही मजा है। यहां अंग्रेजों के समय से सैलानी और स्थानीय लोग घुड़सवारी का आनंद उठाते आ रहे हैं।
रिज पहुंचने पर पर्यटक घुड़सवारी जरूर करते हैं और फोटो खिंचवाते हैं। घुड़सवारी के एवज में लोगों और सैलानियों से हो रही मनमानी वसूली पर नगर निगम प्रशासन हरकत में आ गया है।
निगम ने नई रेट लिस्ट जारी की है। इसमें एक बच्चे का घुड़सवारी शुल्क 50 रुपये, एक वयस्क का 80 रुपये निर्धारित किया गया हैं। दूसरी तरफ घोड़ा संचालक रेट लिस्ट को न मानने पर अड़े हैं।
घोड़ा संचालकों का कहना है कि वे बच्चे का 100 रुपए लेते हैं, जबकि बड़े का 150 रुपए वसूल किया जा रहा है। नए तय रेट काफी कम हैं। 2020 की रेट लिस्ट लगा दी गई है।
वह इन आदेशों को मानने वाले नहीं हैं। महंगाई काफी ज्यादा हो गई। घोड़े के लिए चने और घास चाहिए जो काफी महंगा है। महंगाई के इस दौर में परिवार का पालन पोषण करना आसान नहीं है।
उन्होंने नगर निगम को रेट लिस्ट को रिव्यू करने के लिए कहा है, जिसको लेकर नगर निगम के हाउस में निर्णय लिया जाना है।
वहीं, लोगों का कहना है कि मनमानी पर रोक लगाई जानी चाहिए। बच्चों से 100 रुपए नहीं लिए जाने चाहिए। वहीं अन्य ने इसे महंगाई के दौर में जायज माना है।