लेह सड़क हादसे में गंवाई है जान, इलाके में शोक
शिमला। लद्दाख के लेह जिला में हुए सड़क हादसे में हिमाचल प्रदेश के शिमला जिला का एक जवान भी वीर गति को प्राप्त हुआ है। जवान विजय कुमार पुत्र
बाबू राम शर्मा शिमला ग्रामीण की ग्राम पंचायत नेहरा की तहसील सुन्नी के गांव डिमणी के रहने वाले थे। सेना की ओर से आज सुबह विजय के शहीद होने की आधिकारिक जानकारी परिवार को दी गई।
विजय के परिवार वालों को जैसे ही उनकी मौत की खबर मिली घर में मातम पसर गया। मां और पत्नी का रो-रोकर बुरा हाल है। छोटे-छोटे दो मासूमों के सिर से पिता का साया उठ चुका है लेकिन उन्हें ये मालूम तक नहीं कि आखिर हुआ क्या है।
रिश्तेदार और गांव के लोग विजय के घर पहुंचकर उनके परिजनों को सांत्वना देने पहुंच रहे हैं। जवान के शव को चंडीगढ़ तक हवाई जहाज से लाया जाएगा। जबकि वहां से शिमला तक वाया सड़क मार्ग से शव को पहुंचाया जाएगा। सोमवार को विजय का अंतिम संस्कार किया जाएगा।
बलिदानी विजय कुमार के घर में उनके माता-पिता, पत्नी व दो बच्चे हैं।विजय का एक बड़ा भाई भी है। विजय का बड़ा बेटा 6 साल का है जबकि छोटा बेटा महज डेढ़ साल का है। विजय कुमार ने दाड़गी स्कूल से 12वीं की परीक्षा उत्तीर्ण की थी। उसके बाद वह सेना में भर्ती हो गए थे। विजय बेहद ही गरीब परिवार से संबंध रखते थे। खेल में वह शुरू से ही अव्वल थे। स्कूल में राज्य स्तर पर उन्होंने कबड्डी व खो-खो खेला। सेना में भी कई मेडल इन्होंने खेल में जीते।
नेहरा पंचायत की प्रधान मीरा शर्मा ने कहा कि विजय की मौत की खबर से पूरी पंचायत में शोक की लहर है। उन्होंने कहा कि विजय काफी मिलनसार था। छुट्टियों में जब घर आता था तो सभी से अच्छी तरह से मिलता था। गांव के लोगों को विश्वास ही नहीं हो रहा है कि अब वह इस दुनिया में नहीं रहा।
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने शनिवार को लद्दाख के कियारी के पास हुई एक सड़क दुर्घटना में शहीद हुए शिमला ग्रामीण उपमंडल के गांव नेहरा के सैनिक विजय कुमार के निधन पर शोक व्यक्त किया है। उन्होंने भारतीय सेना के आठ अन्य जवानों के निधन पर भी शोक व्यक्त किया है जिन्होंने इस दुःखद घटना में अपने प्राणों का बलिदान दिया।
मुख्यमंत्री ने शोक संतप्त परिवारजनों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करते हुए शोक संतप्त परिजनों को हर संभव सहायता प्रदान करने का आश्वासन दिया। उन्होंने ईश्वर से दिवंगत आत्माओं की शांति तथा परिजनों को इस अपूर्णीय क्षति को सहन करने की शक्ति प्रदान करने की प्रार्थना की।