Breaking News

  • सोलन में तेज तूफान से गिरा विशाल पेड़, नगर निगम की पार्किंग में खड़ी गाड़ियां क्षतिग्रस्त
  • हिमाचल में बरसी राहत की फुहार, कई क्षेत्रों में बारिश, चली ठंडी हवाएं
  • हमीरपुर जिला में सुबह 8 बजे खुलेंगे सरकारी और निजी स्कूल, आदेश जारी
  • ऊना जिला में गर्मी के चलते बदला आंगनबाड़ी केंद्रों का समय, इस समय खुलेंगे
  • भीषण गर्मी की बीच हिमाचल में बदला स्कूलों का समय, प्रार्थना सभा का टाइम भी होगा कम
  • गुजरात की दो कंपनियां देंगी हिमाचल के युवाओं को नौकरी, ITI मंडी में इंटरव्यू
  • धर्मशाला से नम्रता शर्मा को जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनाएं
  • Job Alert : नौकरी चाहिए तो पहुंचें बड़सर और भोरंज, 17 व 18 जून होंगे इंटरव्यू
  • कांगड़ा जिला में ड्रोन के संचालन को पंजीकरण अनिवार्य, आदेशों की अवहेलना पर होगी कार्रवाई
  • पालमपुर : सुबह 5 से 8 बजे तक कालू दी हट्टी से डाइवर्ट होंगी बैजनाथ जाने वाली वोल्वो बसें

हिमाचल: 10वीं और 12वीं के 90 सेंटर होंगे सावित्रीबाई फुले महिला परीक्षा केंद्र

ewn24news choice of himachal 16 Feb,2023 12:23 am

    अधीक्षक/उपाधीक्षक के रूप में केवल महिला स्टाफ होगा तैनात

     

    धर्मशाला। हिमाचल में 10वीं और 12वीं की परीक्षाओं के लिए 90 परीक्षा केंद्र देश की प्रथम महिला शिक्षिका एवं महान समाजसेवी श्रीमति सावित्रीबाई फुले के नाम से होंगे। हिमाचल स्कूल शिक्षा बोर्ड ने उक्त केंद्रों को सावित्रीबाई फुले महिला परीक्षा केंद्र के नाम से अलंकृत करने का निर्णय लिया है। इन परीक्षा केंद्रों में अधीक्षक/उपाधीक्षक के रूप में केवल महिला प्रवक्ता/अध्यापक को ही नियुक्त किया गया है।
    शिमला : रोहड़ू में भीषण अग्निकांड-जिंदा जला नाबालिग, पांच लोग झुलसे

    कौन थी सावित्रीबाई फुले

    भारत की प्रथम शिक्षिका और महान समाजसेवी सावित्रीबाई फुले का जन्म महाराष्ट्र के सतारा जिले के नायगांव में एक दलित परिवार में 3 जनवरी, 1831 में हुआ था। 1840 में मात्र 9 साल की उम्र में इनका विवाह ज्योतिबा फुले से हुआ। सावित्रीबाई पढ़ी लिखी नहीं थीं, शादी के बाद उनके पति ने उन्हें पढ़ने में मदद की। बाद में सावित्रीबाई फुले ने दलित समाज की ही नहीं बल्कि देश की प्रथम शिक्षिका होने का गौरव प्राप्त किया।

    उस समय लड़कियों की दशा अत्यंत दयनीय थी और उन्हें पढ़ने लिखने की अनुमति तक नहीं थी। इस रीति को तोड़ने के लिए सावित्रीबाई फुले ने 1848 में लड़कियों के लिए एक विद्यालय की स्थापना की। यह भारत में छात्राओं के लिए खुलने वाला पहला विद्यालय था। सावित्रीबाई फुले स्वयं विद्यालय में लड़कियों को पढ़ाने के लिए जाती थीं, लेकिन यह सब इतना आसान न था। उन्हें लोगों के कड़े विरोध का सामना करना पड़ा। लोगों की गालियां ही नहीं बल्कि पत्थरों की मार भी झेली। इस सब के बावजूद उन्होंने हार नहीं मानी।
    कांगड़ा को टूरिज्म कैपिटल बनाने का लक्ष्य, हर जिले में बनेंगे हेलीपोर्ट: सीएम सुक्खू

    [pdf-embedder url="https://ewn24.in/wp-content/uploads/2023/02/Noti.S.B.15.02.2023.pdf"][


    आज की ताजा खबर, ब्रेकिंग न्यूज़, लाइव न्यूज अपडेट पढ़ें https://ewn24.in/ पर,  ताजा अपडेट के लिए हमारा Facebook Page Like करें 

Himachal Latest

Live video

Jobs/Career

Trending News

  • Crime

  • Accident

  • Politics

  • Education

  • Exam

  • Weather