शिमला। हिमाचल प्रदेश में बारिश-बर्फबारी का दौर जारी है। सोमवार से प्रदेश के अधिकतर क्षेत्रों में बादल झमाझम बरस रहे हैं। मंगलवार को भी राजधानी शिमला सहित अन्य भागों में मौसम खराब बना हुआ है।
ऊंचाई वाले क्षेत्रों में हल्की बर्फबारी हो रही है। शिमला में सुबह से धुंध छाई हुई है। बारिश-बर्फबारी के कारण मार्च महीने में दिसंबर जैसी ठंड पड़ रही है। लोग गर्म कपड़े पहन रहे हैं और फिर से हीटर का सहारा लेना पड़ रहा है।
हालांकि, निचले इलाकों की बात करें तो जिला कांगड़ा में सुबह से हल्की धूप भी खिली है, लेकिन बीच-बीच में सूरज बादलों के बीच भी छिप रहा है। तापमान में काफी गिरावट आई है। मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के अनुसार प्रदेश में 25 मार्च तक मौसम खराब रहने की संभावना है। इस दौरान कई भागों में बारिश-बर्फबारी होने की संभावना है। 26 मार्च के बाद मौसम साफ रहने का अनुमान है।
फरवरी माह में प्रदेश के कई जगहों में तापमान का रिकॉर्ड टूटा
शिमला। हिमाचल प्रदेश में 25 फरवरी से मौसम फिर बिगड़ सकता है। 23 व 24 फरवरी को सभी क्षेत्रों में मौसम साफ रहने के आसार हैं। मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के अनुसार प्रदेश के मध्य व उच्च पर्वतीय कई भागों में 25 से 27 फरवरी तक बारिश-बर्फबारी की संभावना है। 27 फरवरी को मध्य पर्वतीय कुछ क्षेत्रों में अंधड़ चलने का भी अलर्ट है। मैदानी भागों में 26 व 27 फरवरी को बारिश की संभावना है।
वीरवार को शिमला सहित प्रदेशभर में मौसम साफ बना हुआ है। मौसम विभाग के अनुसार बीते 24 घंटे में सबसे अधिक तापमान ऊना में 29.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है। वहीं फरवरी माह में 16 फरवरी को सोलन में अधिकतम तापमान का रिकॉर्ड टूटा है। जहां अधिकतम तापमान 29.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया है इससे पूर्व वर्ष 2021 में 28.5 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज किया गया था। वहीं न्यूनतम तापमान का भी शिमला में रिकॉर्ड टूटा है जहां 18 फरवरी को 14.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है इससे पूर्व वर्ष 2015 में 14.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था।
मौसम विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिक संदीप शर्मा ने कहा कि बीते 24 घंटे में मौसम शुष्क बना है। उन्होंने कहा कि तापमान सामान्य से दो से 3 डिग्री तक अधिक चल रहे हैं वहीं न्यूनतम तापमान सामान्य चल रहे है। बीते 24 घंटे में सबसे अधिक तापमान ऊना में 29.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है।
उन्होंने कहा कि आज और 24 फरवरी को मौसम शुष्क बना रहने की संभावना है। वहीं 25 फरवरी से देर रात एक पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होगा जिसके चलते मध्य व उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में बारिश बर्फबारी होने की संभावना है। वही 26 फरवरी को मैदानी क्षेत्रों में भी हल्की बारिश होने का पूर्वानुमान मौसम विभाग ने जताया है।
उन्होंने कहा कि फरवरी माह में प्रदेश के कई जगहों के तापमान का रिकॉर्ड भी टूटा है। 18 फरवरी को शिमला का अधिकतम तापमान 23.2 डिग्री सेल्सियस पहुंचा था। इससे पहले राजधानी शिमला में वर्ष 2006 में 22.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। भुंतर में अधिकतम तापमान 29.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है। वहीं, इससे पहले वर्ष 2018 में 28.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था।
वहीं, सोलन में 16 फरवरी को भी रिकार्ड टूटा है जहां अधिकतम तापमान 29.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया है इससे पूर्व वर्ष 2021 में 28.5 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज किया गया था। वहीं, न्यूनतम तापमान का भी रिकॉर्ड टूटा है जो कि शिमला में 18 फरवरी को 14.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है इससे पूर्व वर्ष 2015 में 14.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था।
शिमला। हिमाचल प्रदेश में मौसम एक बार फिर कड़े तेवर दिख सकता है। इसके साथ ही सर्द हवाओं से अभी निजात मिलने की संभावना कम ही नजर आ रही है। आने वाले दिनों में 29 दिसंबर से प्रदेश में पश्चिमी विक्षोभ प्रवेश कर रहा है जिसके कारण ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी और मैदानी इलाकों में बारिश होने की संभावना है। पश्चिमी विक्षोभ का असर प्रदेश में दो दिन तक देखने को मिल सकता है। इससे दिन के तापमान में भी गिरावट आने के आसार हैं।
मौसम विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिक संदीप शर्मा ने कहा कि 29 से प्रदेश में एक बार फिर पश्चिमी विक्षोभ प्रवेश कर रहा है। जिसके कारण चंबा, लाहौल-स्पीति, किन्नौर, शिमला और कुल्लू के ऊंचाई वाले क्षेत्रों में 29 और 30 को बर्फबारी होने की संभावना है।
वहीं, इस दौरान मैदानी इलाकों में बारिश हो सकती है। 28 दिसंबर तक प्रदेश में मौसम शुष्क बना रहेगा। मैदानी इलाकों में अभी आने वाले दिनों में धुंध बने रहने की संभावना है। 30 दिसंबर के बाद मैदानी इलाकों में धुंध का प्रकोप कम होने के आसार हैं।
तापमान की बात की जाए तो केलांग में तापमान -5.1, किन्नौर में शून्य से कम दर्ज किया गया है वहीं मंडी में 0.5 डिग्री तापमान चल रहा है। 2016 के बाद प्रदेश में अभी तक दिसंबर माह में सबसे अधिक ड्राई स्पेल रहा है।
पश्चिमी विक्षोभ का असर प्रदेश में दो दिन तक बना रहेगा। उसके बाद एक बार फिर नववर्ष पर पर्यटकों के लिए बर्फबारी होने की आस अधूरी रह सकती है तथा प्रदेश में दिन के तापमान में भी गिरावट दर्ज की जाएगी।