ऋषि महाजन/फतेहपुर। सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग हिमाचल प्रदेश के सौजन्य से तहसील कल्याण कार्यालय फतेहपुर द्वारा राजकीय उत्कृष्ट वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला फतेहपुर में एक जागरूकता शिविर आयोजित किया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता उपमंडलाधिकारी (ना०) फतेहपुर श्री विश्रुत भारती ने की।
शिविर में नागरिक अधिकार संरक्षण अधिनियम, 1955 एवं अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम, 1989 के प्रावधानों, पीड़ितों को मिलने वाली राहत राशि और अपराधियों के लिए सजा के प्रावधानों की विस्तार से जानकारी दी गई।
कार्यक्रम में खंड चिकित्सा अधिकारी डॉ. रिचा मेहरोत्रा, थाना प्रभारी पवन गुप्ता, बाल विकास परियोजना अधिकारी अरविंद गुलेरिया, प्रधानाचार्य मितु गौतम,तहसील कल्याण अधिकारी अनुप सिंह व पंचायत प्रतिनिधि, शिक्षकगण और लगभग 250 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया।
इस अवसर पर एसडीएम विश्रुत भारती ने कहा कि नागरिकों को अपने अधिकारों और कर्तव्यों की जानकारी होनी चाहिए ताकि वे किसी भी प्रकार के भेदभाव या अत्याचार के विरुद्ध आवाज़ उठा सकें।
थाना प्रभारी पवन गुप्ता ने कहा कि कानून सबके लिए समान है और समाज में न्याय तभी स्थापित हो सकता है जब नागरिक अपने अधिकारों को समझें और उनका सम्मान करें। डॉ. रिचा मेहरोत्रा ने कहा कि समानता और न्याय ही स्वस्थ समाज की आधारशिला हैं, और ऐसे शिविर लोगों में जागरूकता लाने का सशक्त माध्यम हैं।
बाल विकास परियोजना अधिकारी अरविंद गुलेरिया ने कहा कि सरकार की अनेक योजनाएं समाज के कमजोर वर्गों के उत्थान के लिए हैं, इसलिए जनता को इनके प्रति जागरूक रहना चाहिए।
कार्यक्रम के अंत में सभी अधिकारियों ने संकल्प लिया कि इस तरह के जागरूकता शिविर नियमित रूप से आयोजित किए जाएंगे, ताकि समाज का हर व्यक्ति अपने अधिकारों और कर्तव्यों को समझ सके और एक सशक्त नागरिक के रूप में देश के विकास में योगदान दे सके।