Categories
Top News KHAS KHABAR Kangra State News

धर्मशाला घूमने आने की है प्लानिंग तो पहले पढ़ लें ये खबर, पर्यटकों के लिए खास हिदायत

नदी-नालों तथा खड्डों के नजदीक जाने से करें परहेज

धर्मशाला। लॉकडाउन खुलने के बाद गर्मी से राहत पाने और छुट्टियां बिताने के लिए काफी लोग हिमाचल का रुख कर रहे हैं लेकिन सोमवार को जिस तरह भारी बारिश से नुकसान हुआ है उसके बाद जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी कर दिया है। आप भी अगर घूमने के लिए धर्मशाला आने का प्लान बना रहे हैं तो एक बार ये खबर जरूर पढ़ लें। हिमाचल प्रदेश के अप्पर धर्मशाला स्थित भागसूनाग में मची तबाही के बाद जिला प्रशासन ने लोगों से कहा है कि वह नदी-नालों तथा खड्डों के नजदीक जाने से परहेज करें।

यह भी पढ़ें :- कांगड़ा में तबाही : रुलेहड़ में रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू, 5 को जिंदा निकाला, 9 को बचाने की कोशिश जारी

डीसी कांगड़ा डॉ निपुण जिंदल ने राजस्व विभाग के अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि राहत तथा पुनर्वास के कार्यों को त्वरित प्रभाव से पूरा किया जाए और किसी भी स्तर पर कोताही नहीं बरतें ताकि प्रभावित लोगों को किसी भी तरह की असुविधा नहीं झेलनी पड़े। डॉ जिंदल ने कहा कि आपदाओं से निपटने के लिए जिला तथा उपमंडल स्तर पर कंट्रोल रूम स्थापित किए गए हैं मानसून सीजन में यह कंट्रोल रूम 24 घंटे खुले रहेंगे ताकि आपदा से त्वरित प्रभाव से निपटा जा सके। आपदा की स्थिति में जिला मुख्यालय कंट्रोल रूम से टोल फ्री नंबर 1077 पर संपर्क कर सकते हैं। आपदा से निपटने के लिए आवश्यक उपकरण भी उपमंडल स्तर पर उपलब्ध करवाए गए हैं इसके साथ ही होमगार्ड तथा वालंटियर्स की टीमें भी गठित की गई हैं जो कि आपदा के दौरान त्वरित प्रभाव से कार्य करेंगी।

सभी विभागों को मानसून सीजन के दौरान आपदा प्रबंधन से जुड़े कार्यों के लिए नोडल अधिकारी नियुक्त करने निर्देश भी दिए गए हैं ताकि आपदा प्रबंधन का कार्य सुचारू रूप से सके। डॉ जिंदल ने कहा कि मौसम के पूर्वानुमान की जानकारी नियमित तौर पर लोगों तक पहुंचाने के लिए भी उपयुक्त कदम उठाए गए हैं ताकि आम जनमानस पहले से ही मौसम को लेकर पहले से अलर्ट रहें। उन्होंने कहा कि लोक निर्माण विभाग, आईपीएच तथा विद्युत विभाग को आपदा प्रबंधन की दृष्टि से जेसीबी मशीनें और आवश्यक उपकरण भी पहले से तैयार रखने के निर्देश दिए गए हैं। आपदा प्रबंधन के लिए सड़कों में पानी की निकासी इत्यादि की भी उचित व्यवस्था करने, शहरी तथा ग्रामीण क्षेत्रों में में नालों तथा गंदे पानी की निकासी के लिए निर्मित नालियों की भी उचित सफाई की जाए ताकि पानी का प्रवाह सुचारू रूप से चलता रहे।

हिमाचल और देश-दुनिया की ताजा अपडेट के लिए facebook page like करें 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *