Categories
Top News Himachal Latest KHAS KHABAR Shimla Chamba Kangra

पश्चिमी बाजारों में बढ़ी हिमाचल की ऑर्गेनिक ‘ऊन’ की डिमांड

प्रदेश वूल फेडरेशन ने पशुपालकों की आर्थिकी को किया सुदृढ़

शिमला। हिमाचल प्रदेश में भेड़ पालन ग्रामीण अर्थव्यवस्था और आजीविका का अभिन्न अंग है। प्रदेश के छोटे और सीमांत किसानों ने कृषि के साथ-साथ भेड़ पालन को अपनाकर अपनी आमदनी में वृद्धि की है। राज्य के ग्रामीण और जनजातीय क्षेत्रों के किसानों के लिए भेड़ पालन जीवनयापन का प्रमुख जरिया है।  गुणवत्ता के लिहाज से विशिष्ट पहचान रखने वाली हिमाचली ऊन की मांग अब पश्चिमी बाजारों में निरंतर बढ़ रही है। इसके साथ ही प्रदेश के निजी हितधारक भी राज्य के कुछ हिस्सों में हिमाचली ऊन के जैविक प्रमाणन और अन्य प्रमाणन जैसे आर.डब्ल्यू.एस. (रिस्पॉन्सिबल वूल स्टैंडर्ड्स) में निवेश कर रहे हैं।

ऊना : पीड़ा से कराह रही थी गर्भवती, स्टाफ ने एंबुलेंस में करवाया सफल प्रसव 

बता दें कि हिमाचल में प्रमुख रूप से गद्दी और रामपुर बुशहरी नस्ल का पालन किया जाता है। गद्दी नस्ल की भेड़ चंबा, कुल्लू, कांगड़ा और मंडी जबकि रामपुर बुशहरी नस्ल किन्नौर, रामपुर और शिमला में पाई जाती है।

सांसद सरोज पांडेय का दावा, सभी लोकसभा सीटों पर जीत हासिल करेगी बीजेपी 

आंकड़ों के अनुसार राज्य में वर्ष 2019 में की गई पशुधन गणना के अनुसार राज्य में कुल 7,91,345 भेड़ें हैं।  जिसमें विदेशी नस्ल की संख्या 72821 है और स्वदेशी नस्ल की 7,18,524 भेंड़ें है। भेड़पालक ऊन, पशु, मांस, खाद और दूध इत्यादि उत्पादों की बिक्री के माध्यम से आय अर्जित करते हैं।

मार्च में होली और चैत्र नवरात्रि समेत हैं ये व्रत और त्योहार, देखें पूरी लिस्ट

वहीं, भेड़पालकों के हितों की रक्षा के लिए राज्य की शीर्ष सहकारी संस्था हिमाचल प्रदेश वूल फेडरेशन महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। तकनीकी और यांत्रिक उपकरणों के माध्यम से भेड़ की ऊन निकालने की सुविधाएं प्रदान करने के साथ-साथ भेड़पालकों से ऊन की खरीद के लिए 133.39 करोड़ रुपये का रिवॉल्विंग फंड भी बनाया गया है। बाजार को ध्यान में रखते हुए ऊन का 125 से 150 मीट्रिक टन प्रापण किया जाता है। इसके लिए भेड़ पालकों को मौके पर भुगतान भी किया जाता है।

पीएम मोदी से मिले राज्यपाल शिव प्रताप, भेंट किया चंबा रुमाल

हिमाचल प्रदेश वूल फेडरेशन के एक प्रवक्ता ने बताया कि राज्य में कुल 15.50 लाख किलोग्राम ऊन का उत्पादन किया जाता है, जिसके आधार पर प्रति भेड़ लगभग 1.9 किलोग्राम का उत्पादन होता है। सफेद ऊन की दर 71.50 रुपये प्रति किलोग्राम से लेकर 34.10 रुपये प्रति किलोग्राम और काली ऊन 45 रुपये प्रति किलोग्राम से 25.50 रुपये प्रति किलोग्राम है। हिमाचल प्रदेश वूल फेडरेशन भेड़पालकों को भेड़ों की क्रॉस-ब्रीडिंग प्रक्रिया अपनाने और वस्त्र उद्योग की मांग के अनुसार परिधान निर्माण में उच्च गुणवत्ता वाली ऊन उत्पादित करने के लिए के लिए प्रेरित करती है।

हमीरपुर : PNB की लंबलू शाखा में सेंधमारी, चोरों ने जला डाला रिकॉर्ड

हिमाचल प्रदेश वूल फेडरेशन राज्य के भेड़ पालकों को 11 रुपये से 13 रुपये प्रति भेड़ तक की रियायती दरों पर उपकरणों द्वारा भेड़ की ऊन निकालने की सुविधा भी प्रदान कर रहा है। उपकरणों के माध्यम से भेड़ की ऊन निकालने से समय की बचत होने के साथ यह पशु के स्वास्थ्य के अनुकूल भी होती है। यह सुविधा प्रशिक्षित और अनुभवी भेड़पालकों की मदद से प्रदान की जा रही है।

बिलासपुर: घुमारवीं शहर में अब ट्रैफिक नियम तोड़े तो कटेगा ऑनलाइन चालान

चंबा जिले के होली के गांव देओल के प्रगतिशील भेड़पालक जय सिंह ने बताया कि वह वूल फेडरेशन को लगभग 900 से 1000 किलोग्राम क्रॉसब्रीड ऊन 85.80 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से विक्रय करते हैं। वूलफेड की ऊन निकालने की टीमें भरमौर में उनकी भेड़ों की ऊन निकालने में मदद  करती है। फेडरेशन के सहयोग से वह 800 भेड़ों के झुंड को सफलतापूर्वक पालने में सफल हुए हैं। पारम्परिक रूप से ऊन निकालने वाले लोग बहुत कम रह गए हैं और वे प्रति भेड़ 25 रुपये से 30 रुपये शुल्क लेते हैं।

शिमला के इन क्षेत्रों में खोली जाएंगी 11 उचित मूल्य की दुकानें

कांगड़ा जिले के छोटा भंगाल के भेड़ पालक मोहिंदर ठाकुर ने बताया कि वह सर्दियों में अपने लगभग 300 भेड़ों के झुंड के साथ नालागढ़ के पास रामशहर चले जाते हैं। फेडरेशन उन्हें रामशहर के पास जंगल में भेड़ की ऊन निकालने की सुविधा प्रदान करता है और नियमित रूप से प्रशिक्षण शिविर भी आयोजित करती हएै जिससे उनकी समस्याओं के निवारण के लिए स्थानीय पशु चिकित्सकों से परामर्श और प्रशासन से आवश्यक सहायता भी प्राप्त होती है।

HPU में PhD एडमिशन की डेट फिर बढ़ी, अब 28 तक कर सकेंगे अप्लाई

प्रदेश सरकार की कल्याणकारी योजनाओं के फलस्वरूप आज राज्य की ग्रामीण अर्थव्यवस्था निरंतर आगे बढ़ रही है और इससे समाज के सभी वर्गों तथा दूरदराज क्षेत्रों का समान विकास भी सुनिश्चित हो रहा है।

आज की ताजा खबर, ब्रेकिंग न्यूज़, लाइव न्यूज अपडेट पढ़ें https://ewn24.in/ पर,  ताजा अपडेट के लिए हमारा Facebook Page Like करें 
https://youtu.be/0H3YmEQj7dc

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *